नव वर्ष के आते जाते ,
इस वर्ष कुछ ऐसा मनाएं,
संकल्पों के दशक बना लें.
दीप ऐसा एक मन में जला लें,
कलुष मिटाकर धवल बना लें.
दृढ स्तम्भ बने हम ऐसा
थाम जिसे निर्बल पल जाएँ.
ज्योति प्रेम की ऐसे चमके,
कटुता की कालिख मिट जाए.
एक धर्म की बात करें हम,
मानव ही मानव हो जिसमें.
अमन-चैन औ' खुशहाली में,
हर्षित हो जीवन दिन पर दिन.
बाँट सकें दुःख दर्द किसी का,
आँखों की हम नमी सुखा दें.
भटक गए जो कदम बहक कर,
उनको सही मार्ग दिखला दें.
सम्मान सभी को दें हम इतना,
हम भी इसके अधिकारी बन जाएँ.
समता का भाव रहे मन में,
मित्र शत्रु के भेद भुला दें.
चाहे जितने शूल हों पथ पर,
राहों को हम सुगम बनायें.
चाहूं बस इतना ईश्वर से भी,
इन संकल्पों को पूरा कर पायें.
9 टिप्पणियां:
बहुत सुन्दर सन्देश देती रचना ....
नव वर्ष की शुभकामनायें
सर्वस्तरतु दुर्गाणि सर्वो भद्राणि पश्यतु।
सर्वः कामानवाप्नोतु सर्वः सर्वत्र नन्दतु॥
सब लोग कठिनाइयों को पार करें। सब लोग कल्याण को देखें। सब लोग अपनी इच्छित वस्तुओं को प्राप्त करें। सब लोग सर्वत्र आनन्दित हों
सर्वSपि सुखिनः संतु सर्वे संतु निरामयाः।
सर्वे भद्राणि पश्यंतु मा कश्चिद् दुःखभाग्भवेत्॥
सभी सुखी हों। सब नीरोग हों। सब मंगलों का दर्शन करें। कोई भी दुखी न हो।
बहुत अच्छी प्रस्तुति। नव वर्ष 2011 की हार्दिक शुभकामनाएं!
सदाचार - मंगलकामना!
नव वर्ष पर संकल्पों वाली ये कविता बहुत भायी. नव वर्ष की हार्दिक शुभकामनाये .
aisa hi ho!
nav varsh mangalmay ho!
गहन भावों की खूबसूरत अभिव्यक्ति. आभार.
अनगिन आशीषों के आलोकवृ्त में
तय हो सफ़र इस नए बरस का
प्रभु के अनुग्रह के परिमल से
सुवासित हो हर पल जीवन का
मंगलमय कल्याणकारी नव वर्ष
करे आशीष वृ्ष्टि सुख समृद्धि
शांति उल्लास की
आप पर और आपके प्रियजनो पर.
आप को सपरिवार नव वर्ष २०११ की ढेरों शुभकामनाएं.
सादर,
डोरोथी.
नए वर्ष की आपको भी बधाई।
गरम जेब हो और मुंह में मिठाई॥
सद्भावी-डॉ० डंडा लखनवी
शुभ सन्देश
आपको नया साल मंगलमय हो
गहन भावों की खूबसूरत अभिव्यक्ति. आभार.
नए साल की आपको सपरिवार ढेरो बधाईयाँ !!!!
अति सुंदर - नव वर्ष २०११ की मंगल कामना
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